क्या है INDIA गठबंधन का भविष्य ? तेलंगाना में कांग्रेस के साथ नजर नहीं आए विपक्ष के नेता
Updated: 8 दिसम्बर, 2023
नई दिल्ली: रेवंत रेड्डी तेलंगाना के नए मुख्यमंत्री बन गए हैं. राज्य की कांग्रेस सरकार में उनके साथ एक डिप्टी सीएम सहित 11 विधायकों ने मंत्री पद की शपथ ली. लेकिन इस शपथ ग्रहण समारोह में इंडिया गठबंधन की कांग्रेस की सहयोगी पार्टियों के नेता नहीं आए. छह माह पहले 20 मई को कर्नाटक में सिद्धारमैया के शपथ ग्रहण समारोह में India गठबंधन के नौ विपक्षी दलों के नेता मौजूद थे. लेकिन गुरुवार को तेलंगाना में विपक्षी गठबंधन के नेता गायब थे.
मई में कर्नाटक में कांग्रेस की सरकार के शपथ समारोह में शरद पवार, नीतीश कुमार, एमके स्टालिन, तेजस्वी यादव, सीताराम येचुरी, डी राजा, कमल हसन, फारूख अब्दुल्ला और महबूबा मुफ्ती सहित India गठबंधन के कई नेता मौजूद थे. इस बार यह नेता मौजूद नहीं थे.
रेवंत रेड्डी तेलंगाना के नए मुख्यमंत्री बन गए हैं. राज्यपाल ने उन्हें पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई. रेवंत रेड्डी के साथ 11 अन्य मंत्रियों ने भी शपथ ली. हैदराबाद के लाल बहादुर शास्त्री स्टेडियम में हुए शपथ ग्रहण समारोह में सोनिया गांधी, मल्लिकार्जुन खरगे,राहुल गांधी और प्रियंका गांधी समेत कई वरिष्ठ नेता पहुंचे, लेकिन डेरेक ओ ब्रायन को छोड़कर India गठबंधन के दूसरी पंक्ति के नेता तक समारोह में नदारद रहे.
पहले कांग्रेस ने भोपाल में होने वाली रैली रद्द कर दी फिर छह दिसंबर को कांग्रेस की ओर से बुलाई गई बैठक में कई दिग्गज नेताओं ने आने से इंकार किया. हालांकि विपक्ष के गठबंधन के लिए अब भी संभावना बाकी है क्योंकि सारी आपसी शिकायतों के बावजूद सच्चाई यही है कि सबको यह एहसास है कि बीजेपी को घेरने के लिए सबको साथ आना ही होगा.
विपक्ष में संवादहीनता और टकराव की भी स्थिति
इस मुद्दे पर वरिष्ठ पत्रकार गिरिजा शंकर ने कहा कि, ”पिछले कुछ महीनों में गठबंधन के बीच में एक संवादहीनता देखने को मिली है, और हालिया दौर में बहुत सारे नेता हैं, अलग-अलग पार्टियों के जिनके बीच एक टकराव जैसा भी देखने को मिला. शायद कांग्रेस इस इंतजार में थी कि चुनाव में इन तीन राज्यों में उसको सफलता मिलेगी, और उसके बाद आगे बात होगी, लेकिन ऐसा हुआ नहीं. जो संवादहीनता चल रही थी उसी की वजह से छह तारीख की बैठक में बाकी पार्टियों के नेताओं ने आने से मना कर दिया. आज का ऐसा दिन था कि जब कांग्रेस एक शो कर सकती थी और गठबंधन के उस उत्साह को, जो छह महीने पहले था, दोबारा दिखा सकती थी.”