पृथ्वी के साथ अंतरिक्ष ज्ञान से रूबरू कराने इसरो द्वारा राजधानी के LNCT संस्थान में तीन दिवसीय विक्रम साराभाई साइंस एग्जिबिशन का आयोजन

प्रदेश, मध्य प्रदेश

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Bhopal: राजधानी में रहकर साइंस की पढ़ाई कर रहे हैं बच्चे भी अब अंतरिक्ष में होने वाली घटनाओं से परिचित रहेंगे.

विद्यार्थियों को साइंस से जोड़कर उन्हें पृथ्वी के साथ अंतरिक्ष ज्ञान से रूबरू कराने भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संस्था इसरो द्वारा राजधानी के एलएनसीटी संस्थान में तीन दिवसीय विक्रम साराभाई साइंस एग्जिबिशन का आयोजन किया जा रहा है.

एग्जीबिशन के दूसरे दिन सूक्ष्म,लघु और मध्यम उद्योग मंत्री ओमप्रकाश सकलेचा ने एग्जीबिशन में पहुंचकर विद्यार्थियों का उत्साहवर्धन किया. इस कार्यक्रम के दौरान वर्तमान में मध्य प्रदेश सरकार के विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री ओम प्रकाश सकलेचा के साथ एल एन सी टी ग्रुप के कुलपति जयनारायण चौकसे,प्रो चांसलर डॉ. अनुपम चौकसे मौजूद रहें। जहाँ मंत्री ओम प्रकाश सकलेचा ने अपने संबोधन में कहा कि इस कार्यक्रम के माध्यम से एल एन सी टी ग्रुप एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है जिसके कारण कई विद्यार्थियों को प्रेणा मिलेगी साथ ही साथ विद्यार्थियों के मन में इसरो के प्रति सजग भावना जागृत होगी।

एक्जीबिशन में साइंटिस्ट टीम ने एक मोबाइल बस में रखे कई साइंटिफिक मॉडलों से बच्चों को स्पेस में हो रहे मूवमेंट के साथ चंद्रयान और मंगलयान के बारे में जानकारी दी.

प्रबंधन ने बताया कि साइंस एग्जिबिशन में करीब 8 हज़ार कालेज व 5 हजार अन्य कालेज स्कूल के विद्यार्थियों ने मॉडल के माध्यम से तकनीक को समझा.उन्होंने बताया कि यहां कई तरह के मॉडल रखे गए हैं जहां मौजूद साइंटिस्ट अपने-अपने मॉडल के बारे में बच्चों को समझा रहे हैं.

बच्चों को प्रैक्टिलिटी तौर पर भी कई जानकारियां दी गई. साइंटिस्टो ने बच्चो को बताया हम सिर्फ चांद में होने वाले ब्लैक होल के बारे में जानते हैं लेकिन सूर्य में भी वैसा ही ब्लैक होल है, जो हमें नहीं दिखता है जिसको लेकर बच्चे काफी उत्सुक दिखे.

वही इस प्रदर्शनी के दौरान “स्पेस ऑन व्हील्स” नामक वाहन ने सबका ध्यान आकर्षित किया। इसरो के द्वारा लॉन्च किए गए उपग्रहों को एक बस के अंदर व्यवस्थित किया गया है जिसमे नेविगेशन विथ इंडियन कॉन्सटिलेशन, इंडियन रिमोर्ट सेंसिंग एप्पलीकेशन, इंडियन सैटेलाइट कम्युनिकेशन एप्लीकेशन, मून सरफेस, मंगलयान एवम अन्य इसरो लॉन्च वाहनों, उपग्रहों, अंतरिक्ष अनुप्रयोगों को मॉडल के रूप में पेश किया गया है। अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी और इसरो के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए यह एक महत्वपूर्ण कदम है।

इस दौरान जानकारी दी गई की साइंस बहुत प्रगति कर चुका है मगर आज भी जानकारी के आभाव में साइंस को काफी टफ समझा जाता जिसके चलते बच्चों का रुझान साइंस से हटता जा रहा है ऐसे में युवा साइंटिस्ट को तैयार कर उन्हें मोटिवेट करने इसरो इस तरह की साइंस एग्जिबिशन आयोजित कर रहा है.

 

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